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अध्याय 18 – `जनता की आवाज` पारदर्शी शिकायत / प्रस्ताव प्रणाली (सिस्टम) पर प्रधानमंत्री, मुख्‍यमंत्री के हस्‍ताक्षर कर देने के बाद राइट टू रिकॉल ग्रुप / प्रजा अधीन राजा समूह की कार्य-नीति

 `जनता की आवाज` पारदर्शी शिकायत / प्रस्ताव प्रणाली (सिस्टम) पर प्रधानमंत्री, मुख्‍यमंत्री के हस्‍ताक्षर कर देने के बाद राइट टू रिकॉल ग्रुप / प्रजा अधीन राजा समूह की कार्य-नीति एक बार जब हम नागरिकों को आश्‍वस्‍त कर लेते हैं कि

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अध्याय 17 – प्रिय कार्यकर्ता, आन्‍दोलन में, चुनाव जीतने से कम समय लगेगा

 प्रिय कार्यकर्ता, आन्‍दोलन में, चुनाव जीतने से कम समय लगेगा (17.1) इस पाठ का उद्देश्‍य एक व्‍यापक जन-आन्‍दोलन वह होता है जिसमें कार्यकर्तागण नागरिकों से कहते हैं कि वे चुनावों के आने का इंतजार किए बिना वर्तमान प्रधानमंत्री/मुख्‍यमंत्री और महापौरों

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अध्याय 16 – प्रिय कार्यकर्ता, क्‍या आपके नेता कानूनों के ड्राफ्ट देने / बताने से मना करते हैं ?

 प्रिय कार्यकर्ता, क्‍या आपके नेता कानूनों के ड्राफ्ट देने / बताने से मना करते हैं ? (16.1) इस पाठ का उद्देश्‍य             इस पाठ का उद्देश्‍य कनिष्ठ/छोटे कार्यकर्ताओं को यह समझाने का है कि यदि आपका कार्यकर्ता नेता गरीबी/भ्रष्‍टाचार कम

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अध्याय 15 – प्रिय कार्यकर्ता, क्‍या आपकी कार्रवाई पर्याप्‍त और क्‍लोन पॉजिटिव है ?

 प्रिय कार्यकर्ता, क्‍या आपकी कार्रवाई पर्याप्‍त और क्‍लोन पॉजिटिव है? (15.1) यह कैसा प्रश्‍न है ? और यह क्‍लोन पॉजीटिव होना क्‍या बला है? भारत में स्‍वार्थ-रहित कार्यकर्ता बुरी तरह असफल हो रहे हैं। वर्षों के प्रयास के बावजूद खाद्य-गरीबी(स्वस्थ,

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अध्याय 14 – `जनता की आवाज-पारदर्शी शिकायत / प्रस्ताव प्रणाली (सिस्टम)` आन्‍दोलन के जरिए लाना न कि चुनाव जीतकर

 `जनता की आवाज-पारदर्शी शिकायत / प्रस्ताव प्रणाली (सिस्टम)` आन्‍दोलन के जरिए लाना न कि चुनाव जीतकर (14.1) भारत में सतयुग लाने के लिए तीन कदमों का तरीका प्रजा अधीन राजा/राइट टू रिकॉल समूह के सदस्‍य के रूप में मैं भारत

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अध्याय 13 – हर हफते केवल दो-चार घंटे का समय देकर आप भारत में “प्रजा अधीन राजा” क़ानून-ड्राफ्ट को लाने में सहायता कर सकते हैं

हर हफते केवल दो-चार घंटे का समय देकर आप भारत में “प्रजा अधीन राजा” क़ानून-ड्राफ्ट को लाने में सहायता कर सकते हैं (13.1) क्‍या यह एक और मजाक है? मेरी प्रारंभिक /शुरू की लाइन थी, “तीन लाइन का जनता की

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अध्याय 12 – प्रजा अधीन राजा/राइट टू रिकॉल (भ्रष्‍ट को बदलने का अधिकार) समूह द्वारा प्रस्‍तावित महत्‍वपूर्ण प्रारूपों / क़ानून-ड्राफ्ट की सूची / लिस्ट

 प्रजा अधीन राजा/राइट टू रिकॉल (भ्रष्‍ट को बदलने का अधिकार) समूह द्वारा प्रस्‍तावित महत्‍वपूर्ण प्रारूपों / क़ानून-ड्राफ्ट की सूची / लिस्ट “जी एन” का अर्थ सरकारी आदेश/अधिसूचना(आदेश) (भारतीय राजपत्र) होता है अर्थात यह कैबिनेट मंत्रियों द्वारा जारी किया गया एक

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अध्याय 11 – प्रजा अधीन राजा / राइट टू रिकॉल (भ्रष्‍ट को बदलने का अधिकार) समूह तथा सभी पार्टियों, प्रमुख बुद्धिजीवियों के बीच अंतर

 प्रजा अधीन राजा / राइट टू रिकॉल (भ्रष्‍ट को बदलने का अधिकार) समूह तथा सभी पार्टियों, प्रमुख बुद्धिजीवियों के बीच अंतर (11.1) हम अधिकांश दलों और अधिकांश बुद्धिजीवियों से पूरी तरह अलग हैं । मुख्‍य अंतर इस प्रकार है प्रजा

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अध्याय 10 – मेरे प्रजा अधीन राजा / राइट टू रिकॉल (भ्रष्‍ट को बदलने का अधिकार) समूह का एक संक्षिप्‍त परिचय

 मेरे प्रजा अधीन राजा / राइट टू रिकॉल (भ्रष्‍ट को बदलने का अधिकार) समूह का एक संक्षिप्‍त परिचय (10.1) समूह का नाम चुनाव घोषणापत्र लिखे जाने के समय मेरे राजनैतिक समूह को अभी मान्‍यता मिलना बाकी है। मान्‍यता प्राप्‍त करने

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अध्याय 9 – मूल्‍य नियंत्रण के लिए प्रजा अधीन राजा / राइट टू रिकॉल समूह का प्रस्‍ताव : प्रजा अधीन – भारतीय रिजर्व बैंक (आर बी आई) के गवर्नर

 मूल्‍य नियंत्रण के लिए प्रजा अधीन राजा / राइट टू रिकॉल समूह का प्रस्‍ताव : प्रजा अधीन – भारतीय रिजर्व बैंक (आर बी आई) के गवर्नर (9.1) भारतीय रिजर्व बैंक (आर बी आई) के गवर्नर की भूमिका भारतीय रिजर्व बैंक

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