– 20 लाख रूपये की घूस के लिए 1 किलो सोना या 45,000 अमेरिकी डॉलर मांगेगे |
– 1 लाख रूपये की घूस के लिए 50 ग्राम सोने का सिक्का या 2250 अमेरिकी डॉलर मांगेगे |
– 50 हजार रूपये की घूस के लिए 25 ग्राम सोने का सिक्का, 1 किलो चांदी या 1200 अमेरिकी डॉलर मांगेगे |
– 50 हजार से कम कीमत की घूस वो भारत की छोटे नोट(रु.50) में ही मांग सकते हैं |
– अगर आपने भारत के छोटी करेंन्सी नोट में ही घूस दी तो वो उसी दिन उसको बडी आसानी से सोने में, चांदी में, विदेशी मुद्रा में रूपांतरित कर देंगे जो बड़ा आसान काम है |
– छोटे स्तर पर कुछ भ्रष्ट अधिकारी मिलकर अपना एक एजेंट या प्रतिनिधि रखेंगे जो हररोज घूस में लिए गए पैसों को सोने, चांदी, विदेशी मुद्रा रूपांतरित कर देगा |
(3) बड़े स्तर पर भ्रष्टाचार करने के लिए भ्रष्ट राजनेता या न्यायाधीश तो वैसे भी बडी करेंन्सी नोट हाथ नहीं लगाते और कुल भ्रष्टाचार करने वालों में उनकी तादात 95% हैं|
(3.1) बड़े स्तर पर भ्रष्टाचार घूस लेने की लिए वैसे ही भ्रष्ट राजनेता या जज/न्यायाधीश अपने विदेशी बैंक अकाउंट उपयोग करते हैं|
– अगर आपको कोई मिनिस्टर को 100 करोड रूपये की घूस देनी हो तो 1000 रूपये की नोट का इस्तमाल करके १०० करोड रूपये की घूस में 10,000 बंडल होंगे |
– अगर आपको कोई मिनिस्टर को 500 करोड रूपये की घूस देनी हो तो 1000 रूपये की नोट का इस्तमाल करके 100 करोड रूपये की घूस में 50,000 बंडल होंगे |
– 10,000 या 50,000 बंडल को लेना-देना और छुपाना काफी मुश्किल काम है इसीलिए अगर कोई मिनिस्टर को 100 करोड रूपये की घूस देनी हो तो वो अपने स्विस या मोरिसियस बैंक का अकाउंट नंबर दे देगा फिर आप उसके बैंक अकाउंट में बडी आसानी से ओन-लाईन इंटरनेट के माध्यम से पैसे ट्रान्सफर कर सकते हे
कृपया आप नीचे की लिंक देखिये जो टाइमस ऑफ इंडिया से है , जिसमें कहा गया है कि राजा ने 2 जी स्पेक्ट्रम के घोटाले में अपने मोरीसीयस बैंक अकाउंट का इस्तामल किया था | अगल घोटाले के लिए राजा अपने मोरीसीयस बैंक अकाउंट का इस्तामल कर सकता है तो सोनिया गाँधी भी कर सकती है, मनमोहन सिंग भी कर सकता है, कोई भी कर सकता है |
– ‘Raja used wife’s a/c to stash bribe money in Mauritius and Seychelles’
http://articles.timesofindia.indiatimes.com/2011-03-02/india/28646452_1_2g-spectrum-scam-bribe-money
(3.2) भ्रष्ट राजनेता या जज/न्यायाधीश को अगर भारत में ही घूस भारतीय मुद्रा में चाहिए तो उसके पास उसकी पत्नी, बच्चे, भतीजे या खुदके नाम पर काफी ट्रस्टों, गैर सरकारी संगठन होंगे| और वो लोग उसी ट्रस्टों, गैर सरकारी संगठन में ट्रस्टी होंगे| आप उसके ट्रस्टों, गैर सरकारी संगठन में बैंक चेक से वाईट में घूस दे सकते हो |
भारत में सारे ट्रस्टों, गैर सरकारी संगठन को इनकम टेक्स में से राहत मिलती है और दान देने वाले को भी टेक्स में से राहत मिलती है | इस नजरिये से आप देखें तो आपको घूस देने पर इनकम टेक्स में से राहत मिलेगी और उन भ्रष्ट राजनेता या जज/न्यायाधीश को भी |
भारत में कौन सा राजनेता या जज/न्यायाधीश या उसके सगे-सम्बन्धी कौन से ट्रस्टों, गैर सरकारी संगठन में ट्रस्टी हैं, उनका कोई व्यवस्थित डेटाबेस, या सूचि भ्रष्ट राजनेता या जज/न्यायाधीश ने मिलकर आज तक तैयार नहीं होने दिया है |
(4) जमीन अधिग्रहण में भ्रष्टाचार –
जब भी सरकार बड़ी मात्रा में जमीन लेने वाली होती है, तो कोई बड़ा व्यवसायी/व्यापारी भूमि अधिग्रहण अधिकारी को 1 लाख रूपये हर सर्वे नंबर के हिसाब से घूस देता है, यह जानने के लिए कि कौन सी भूमि/जमीन सरकार लेने वाली है |. एक बार व्यवसायी/व्यापारी को सर्वे नंबर मिल जाता हे तो वो गरीब किसानो से 15 से 20 लाख रूपये हर एकर के हिसाब से सारी जमीन खरीद लेता है या काम दम पर अपने नाम पर करा देता है जिससे स्टेम्प ड्यूटी बच जाये | बाद में वो ही व्यवसायी/व्यापारी करोड़ों रूपये में सरकार से वो ही जमीन का सौदा करता है |
(5) आप सुप्रीम कोर्ट के जजों या न्यायाधीश का अध्ययन कर सकते हो | वो कभी भी पैसे को छूते तक नहीं या नाम नहीं लेते | वो बडे चतुर तरीके से कोई भी वकील का नाम देगा जो उसका दोस्त या रिश्तेदार है और फिर वो ही वकील वार्तालाप करेगा | आपको घूस भी बैंक चेक से वकील को ही ही देनी है तो पकडे जाने का कोई डर ही नहीं है | जेसे ही आपने दोस्त या रिश्तेदार वकील को चेक दे दिया ,दूसरे दिन कोर्ट का फैसला आपके पक्ष में आ जाता है|
(6) 500 या 1000 के बडे नोट बंद होने के बाद जिसके पास वो नोट बचेंगे वो उसकी कालाबाजारी कर सकते हैं और फिर यही नोट सिर्फ सोने, चांदी या विदेशी मुद्रा के स्थान पर लेन – देन करने के लिए काम आएंगे |
(7) नरेन्द्र मोदी कुछ भ्रष्टाचार के केस में शामिल है, जिसमें उसने टाटा मोटर को बडी सस्ती कीमत पर अहमदाबाद में जमीन दे दी और न्यायाधीश ने केस को रफा-दफा कर दिया |
– उसके बदले में जज/न्यायाधीश के भाई-भतीजे को तरक्की/पदोन्नति/प्रोमोशन मिलेगा और फिर वो उसे पद का उपयोग करके घूस ले सकेंगे |
– टाटा मोटर उसके बदले में कांग्रेस से केहकर नरेन्द्र मोदी के खिलाफ जो केस चल रहे हैं वो कमजोर कर देगी |
– टाटा मोटर या टाटा ग्रुप यह सब फेवर/उपकार के बदले में कुछ ट्रस्टों, गैर सरकारी संगठन (एन.जि.ओ) में दान देगा जो नरेन्द्र मोदी, न्यायाधीश तथा कांग्रेस के हैं और टाटा मोटर या टाटा ग्रुप यह दान देने पर आय-कर में से राहत मिलेगी और उन भ्रष्ट राजनेता या न्यायाधीश को भी |
(8) आजकल और एक तरीका निकला है जिसमें परामर्श शुल्क के नाम पर भाई-भतीजे को घूस दी जा सकती हे.
सरकारी बैंक लोन के भ्रष्टाचार में बैंक के निदेशक/डीरेकटर के भाई-भतीजे वकील या परामर्श के नाम पर भाड़ा या किराया लिया जाता है | जब बैंक लोन दे देता है, तो निदेशक/डीरेकटर के भाई-भतीजे को परामर्श के नाम पर भाड़ा या किराया मिल जाता है| चीदम्बरण की पत्नी ऐसे काफी कंपनी में शामिल है जो परामर्श देने का काम करती है | ऐसे मामले में आप कैसे साबित करोगे की घूस दी गयी थी कि परामर्श शुल्क ?